Kishore Kumar Hits

Viju Shah - Mere Man lyrics

Artist: Viju Shah

album: Shikhar


मेरे मन, मेरे मन
मेरे मन, मेरे मन
ये उजली-उजली किरने, चमकी जीवन दर्पण में
ये उजली-उजली किरने, चमकी जीवन दर्पण में
ये धूप-छाँव की अनबन, हर दिशा को नाचे तन-मन
है सब कुछ नया-नया
मेरे मन, मेरे मन
मेरे मन, मेरे मन, मेरे मन
ये उजली-उजली किरने, चमकी जीवन दर्पण में

हाँ, धरती की गोद में है सपनों का वो नगर
छोड़ा जहाँ था हमने बचपन का हमसफ़र
क्या होगा जाने आगे, बदली हुई हवा है
महसूस जो किया है उसमें बड़ा मज़ा है
Hmm, कभी सोचूँ ये कहूँगी, कभी सोचूँ वो कहूँगी
कभी सोचूँ ये कहूँगी, कभी सोचूँ वो कहूँगी
वो कभी लगे अपना सा, और कभी लगे सपना सा
है सब कुछ नया-नया
मेरे मन, मेरे मन
मेरे मन, मेरे मन, मेरे मन

खोया है चैन दिन का, रातों की नींद खोई
यादों में आजकल तो रहने लगा है कोई
मिल जाए जो अकेला तो मैं कहूँ जिया की
हूँ मैं अजीब, पागल सपनों के इस पिया की
ये उजली-उजली किरने, चमकी जीवन दर्पण में
ये उजली-उजली किरने, चमकी जीवन दर्पण में
ये धूप-छाँव की अनबन, हर दिशा को नाचे तन-मन
है सब कुछ नया-नया
मेरे मन, मेरे मन
मेरे मन, मेरे मन, मेरे मन
मेरे मन, मेरे मन, मेरे मन
मेरे मन, मेरे मन, मेरे मन

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