जहाँ तुम हो, वहीं मैं हूँ तेरे ना होने से लगता है मैं क्यूँ हूँ जहाँ तुम हो, वहीं मैं हूँ तेरे ना होने से लगता है मैं क्यूँ हूँ तू ही मेरा कल है, तू ही मेरा आज तू ही मेरा कल है, तू ही मेरा आज ♪ सुबह की करवटों सी जो है शाम की हरकतों सी जो है बात भी फ़ुर्सतों की जो है वही तुम हो जो आहट ख़ुशियों के चलने की जो राहत नींदों से मिलने की जो आदत ख़्वाबों के उड़ने की वही तुम हो तू ही मेरा कल है, तू ही मेरा आज तू ही मेरा कल है, तू ही मेरा आज ♪ मैं शायद हूँ, यक़ीं तुम हो मेरे चेहरे पे ठहरी एक हँसी तुम हो तेरा मिलना यूँ रोज़ाना लगे साँसों की आदत तुमको दोहराना तू ही मेरा कल है, तू ही मेरा आज तू ही मेरा कल है, तू ही मेरा आज हवाएँ तुझसे जो गुज़री हैं मुझे वो साँस बन के मिली हैं ज़िंदगी की तरह ठहरी है देखो ना तुम कभी अल्फ़ाज बन के मेरे ज़रा होंठों पे यूँ रह लेना मैं बोलूँ और सुनाई देना हमेशा तुम तू ही मेरा कल है, तू ही मेरा आज तू ही मेरा कल है, तू ही मेरा आज हो, Uh-हो-ओ ओ-हो-ओ Uh-हो-ओ ओ-हो-ओ