ना है ये पाना ना खोना ही है तेरा ना होना, जाने क्यु होना ही है तुम से ही दिन होता है सुरमए शाम आती है तुम से ही तुम से ही हर घड़ी साँस आती है ज़िंदगी केहलाति है तुम से ही तुम से ही आँखो में आँखे तेरी बाहो में बाहे तेरी मेरा ना मुझ में कुछ रहा हुआ क्या बातों में बातें तेरी राते सोगाते तेरी क्यु तेरा सब ये हो गया हुआ क्या में कहीं भी जाती हूँ तुम से ही मिल जाती हूँ तुम से ही तुम से ही शोर में खामोशी है थोड़ी सी बेहोशी है तुम से ही तुम से ही ना है ये पाना ना खोना ही है