हाँ, हाँ सामने रास्ते हैं कई मेरे अकेला चलने से आज भी डरता हूँ मैं ♪ हाँ, सामने रास्ते हैं कई मेरे अकेला चलने से आज भी डरता हूँ मैं हैं ये लफ़्ज़ मेरे साथ निभाने को पर फिर भी ना माने दिल उस राह जाने को जानता हूँ, है रोशनी अँधेरे के बाद तू भी चल फिर, दे-दे मेरा साथ सामने रास्ते हैं कई मेरे अकेला चलने से आज भी डरता हूँ मैं ♪ हाँ, एक अंजाना सा हो शहर और हम दोनों ही हों बेख़बर, बेख़बर हाँ, और जिस तरफ़ भी हम चलें हमको दिखे हसीं नज़र, हसीं नज़र सामने रास्ते हैं कई मेरे अकेला चलने से आज भी डरता हूँ मैं अधूरा सा लगता है सफ़र मेरा अभी बस हमको चलते रहना है गुज़ारिश बन के तुमको मेरे दिल में संग रहना, मेरे संग रहना है बस चलते रहना है, चलते रहना है, हाँ