जागो नरसिम्हा जागो रे तेरी राह चले सारे मतवाले जय जय की गूँजे ललकारे हम लुगनी बांद के यहीं पुकारे वर्षा हो खुशियों की नवरतनों की हर तारों की ऐसे खिले सदा अपनी मुस्काने छमा छम बरसे रे खुशियां दमा दम गूँज रही खुशियां घमा घम खुशबू सी खोले सना सन साँसों में खुशियां बडी देर से बदला है ये दिल का मौसम चली ताज़ा हवाए होले होले मद्धम कलियों की तरह से खिला है अब हर एक मन्न उम्मीद मिले एक ज्योत जली आशाओं की वैसा ही कल हो जैसा आज देखो न रब ने ये बोला उसकी मेहर से धरती ये खुशियों का झूलती है झूला वैसा ही कल हो जैसा आज देखो न रब ने ये बोला उसकी मेहर से धरती ये खुशियों का झूलती है झूला खुशियों का झूलती है झूला खुशियों का झूलती है झूला कोई सवाल ये पूछे कौन है तेरा साती रे तो जवाब ये देना जन्मे हम एक ही माटी से सारे खुश हो ये इच्छा है सारों की खुशी हो मेरी खुशी हमे नाज़ हो अपनों पे ये जश्न हमारी ताक़त का बन जाए हम सुख दुःख में इक दूझे के काम आए हम इक दूझे की धडकन में बस जाए सबसे पहले इक इनसान हो चल बन जाए वैसा ही कल हो जैसा आज देखो न रब ने ये बोला उसकी मेहर से धरती ये खुशियों का झूलती है झूला वैसा ही कल हो जैसा आज देखो न रब ने ये बोला उसकी मेहर से धरती ये खुशियों का झूलती है झूला खुशियों का झूलती है झूला खुशियों का झूलती है झूला (वैसा ही कल हो जैसा आज) (देखो न रब ने ये बोला) (उसकी मेहर से धरती ये) (खुशियों का झूलती है झूला) (वैसा ही कल हो जैसा आज) (देखो न रब ने ये बोला) (उसकी मेहर से धरती ये) (खुशियों का झूलती है झूला) (खुशियों का झूलती है झूला) (खुशियों का झूलती है झूला)