दिन तो ये गुज़र गया तेरे ख़यालों में शाम ये ठहरने लगी मुलाक़ात के लिए दिन तो ये गुज़र गया तेरे ख़यालों में शाम ये ठहरने लगी मुलाक़ात के लिए यूँ बेरहमी बरसाओ ना, अब मुझ को तरसाओ ना कहीं बिखर ना जाए समाँ इंतज़ार में दिन तो ये गुज़र गया तेरे ख़यालों में शाम ये ठहरने लगी मुलाक़ात के लिए सितारे भी, देखो, बेचैन हो के छिपने लगे हैं कहीं हवा भी मचलने लगी है यहाँ, अब तो आ जाओ महजबी सितारे भी, देखो, बेचैन हो के छिपने लगे हैं कहीं हवा भी मचलने लगी है यहाँ, अब तो आ जाओ महजबी यूँ बेरहमी बरसाओ ना(बरसाओ ना), अब मुझ को तरसाओ ना(तरसाओ ना) कहीं बिखर ना जाए समाँ इंतज़ार में दिन तो ये गुज़र गया तेरे ख़यालों में शाम ये ठहरने लगी मुलाक़ात के लिए दिन तो ये गुज़र गया तेरे ख़यालों में शाम ये ठहरने लगी मुलाक़ात के लिए